



छत्तीसगढ़ के बलौदाबाजार में किसान आत्महत्या प्रयास के बाद तहसीलदार निलंबित! Chhattisgarh Talk डॉट कॉम की खबर का असर, प्रशासन ने उठाया सख्त कदम। पढ़ें पूरी खबर।
रायपुर/बलौदाबाजार: छत्तीसगढ़ के बलौदाबाजार जिले में किसान द्वारा आत्महत्या की कोशिश के मामले में प्रशासन ने कड़ा एक्शन लेते हुए सुहेला तहसीलदार कुणाल सेवईया को निलंबित कर दिया है। इस संबंध में आज महानदी भवन मंत्रालय से आदेश जारी किया गया, जिसमें तहसीलदार को बस्तर मुख्यालय अटैच करने के निर्देश दिए गए हैं।
Chhattisgarh Talk की खबर का असर
बता दे कि Chhattisgarh Talk डॉट कॉम द्वारा इस खबर 12 मार्च को सबसे पहले उजागर करने और इसे प्रमुखता से उठाने के बाद सरकार हरकत में आई। अब प्रशासन ने इस मामले में बड़ी कार्रवाई करते हुए तहसीलदार कुणाल सेवईया को निलंबित कर दिया है और उन्हें बस्तर मुख्यालय अटैच कर दिया गया है।
यह न केवल प्रशासन की घोर लापरवाही को उजागर करता है, बल्कि यह भी दर्शाता है कि यदि मीडिया जनहित के मुद्दों को मजबूती से उठाए, तो सरकार को कार्रवाई करने पर मजबूर होना पड़ता है।

क्या है पूरा मामला?
बलौदाबाजार जिले के बुढ़गहन गांव के रहने वाले किसान हीरालाल साहू अपनी जमीन के कब्जे को लेकर महीनों से तहसील कार्यालय के चक्कर लगा रहे थे। उनकी शिकायत थी कि कुछ दबंगों ने उनकी जमीन पर अवैध कब्जा कर लिया है और प्रशासनिक अधिकारी इस मामले को हल्के में ले रहे हैं।
जब उन्होंने तहसीलदार से न्याय की गुहार लगाई, तो उन्हें धमकी दी गई कि यदि ज्यादा हंगामा किया तो उन्हें जेल भेज दिया जाएगा। इस अपमान और प्रशासनिक उपेक्षा से आहत होकर 12 मार्च को किसान ने अपने बेटे के साथ सुहेला तहसील कार्यालय परिसर में ही कीटनाशक खा लिया।
जैसे ही Chhattisgarh Talk डॉट कॉम की यह खबर फैली, तहसील कार्यालय में हड़कंप मच गया। मौके पर मौजूद लोगों ने तुरंत किसान और उसके बेटे को अस्पताल पहुंचाया। फिलहाल, दोनों की हालत गंभीर बनी हुई है और उनका इलाज रायपुर के एक निजी अस्पताल में जारी है।
Chhattisgarh Talk डॉट कॉम ने उठाया मुद्दा, प्रशासन को करनी पड़ी कार्रवाई
घटना के बाद प्रशासन ने पहले चुप्पी साध रखी थी। जब पत्रकारों ने तहसीलदार और अन्य अधिकारियों से संपर्क करने की कोशिश की, तो उन्होंने फोन काट दिए और जवाब देने से बचते रहे।
लेकिन जब Chhattisgarh Talk डॉट कॉम ने इस खबर को प्रमुखता से प्रकाशित किया और इसे सोशल मीडिया सहित विभिन्न प्लेटफॉर्म पर उठाया, तो जनता में गुस्सा फूट पड़ा। इसके अलावा कांग्रेस पार्टी ने भी इस मुद्दे को उठाया, जिससे सरकार पर दबाव बढ़ गया।
देखिए क्या खबर प्रकाशित हुआ था 👉 राजस्व मंत्री टंकराम वर्मा के गृह जिले में तहसील कार्यालय में किसान ने खाया जहर! जानें मामला
Chhattisgarh Talk डॉट कॉम की खबर का असर – तहसीलदार निलंबित
लगातार बढ़ते जनआक्रोश के बाद, आखिरकार प्रशासन को कदम उठाना पड़ा और तहसीलदार कुणाल सेवईया को निलंबित कर दिया गया।
लेकिन क्या यह कार्रवाई पर्याप्त है?
यह निलंबन प्रशासन की लापरवाही का एक छोटा सा जवाब है, लेकिन सवाल यह है कि क्या यह हीरालाल साहू और उनके परिवार के लिए न्याय दिलाने के लिए पर्याप्त है?
✔ किसान की हालत अभी भी नाजुक बनी हुई है।
✔ परिवार आर्थिक और मानसिक रूप से बुरी स्थिति में है।
✔ क्या अन्य दोषी अधिकारियों पर भी कार्रवाई होगी?
✔ क्या किसान को न्याय और उचित मुआवजा मिलेगा?
ग्रामीणों में अब भी आक्रोश, उठ रहे हैं ये बड़े सवाल
✔ अगर किसान की शिकायत पर पहले कार्रवाई होती, तो क्या यह घटना टल सकती थी?
✔ तहसीलदार के निलंबन के बाद क्या अन्य दोषियों पर भी होगी कार्रवाई?
✔ पीड़ित किसान और उसके परिवार को कब मिलेगा न्याय?
किसानों की समस्याओं को गंभीरता से लेने की जरूरत
छत्तीसगढ़ में किसानों की आत्महत्या की घटनाएं लगातार बढ़ रही हैं। प्रशासन की निष्क्रियता और अधिकारियों की लापरवाही इस समस्या को और बढ़ा रही है। अगर समय रहते उचित कार्रवाई की जाती, तो हीरालाल साहू आज जिंदगी और मौत के बीच संघर्ष नहीं कर रहा होता।
अब देखना होगा कि प्रशासन इस मामले में आगे क्या कदम उठाता है और क्या किसान को न्याय मिलेगा या यह मामला भी फाइलों में दबकर रह जाएगा?
छत्तीसगढ़ टॉक डॉट कॉम इस पूरे घटनाक्रम पर नजर बनाए रखेगा और जनता की आवाज उठाता रहेगा।
👉 अपडेट्स के लिए जुड़े रहें!
व्हाट्सएप ग्रुप से जुड़े- Join Now
- विज्ञापन के लिए संपर्क करे: 9111755172
-टीम छत्तीसगढ़ टॉक न्यूज़ (Chhattisgarh Talk News)
कृषि योजनाओं का लाभ चाहिए? बिना देरी के कराएं फार्मर रजिस्ट्रेशन, जानें पूरी प्रक्रिया!
बलौदाबाजार नगर पालिका शपथ ग्रहण विवाद: भाजपा-कांग्रेस आमने-सामने, अलग-अलग स्थानों पर हुआ शपथ समारोह!
बलौदाबाजार में भाजपा कार्यालय बना रणभूमि: ताले टूटे, नारे गूंजे! जानें क्यों भाजपा में मचा बवाल!
आप किस जेनरेशन का हिस्सा हैं? जानिए हर पीढ़ी की विशेषताएँ और योगदान
छत्तीसगढ़ में अब 24 घंटे खुलेंगी दुकानें, जानिए क्या है नया कानून