बलौदाबाजार के कसडोल में महतारी एक्सप्रेस 102 एंबुलेंस में मरीजों की जगह सीमेंट की बोरियां लादे जाने का वीडियो वायरल, स्वास्थ्य विभाग में हड़कंप।
बलौदाबाजार: बलौदाबाजार जिले के कसडोल क्षेत्र से स्वास्थ्य व्यवस्था की लापरवाही का गंभीर मामला सामने आया है। यहां मरीजों को अस्पताल पहुंचाने के लिए संचालित महतारी एक्सप्रेस 102 एंबुलेंस में सीमेंट की बोरियां लाद दी गईं। इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है, जिससे पूरे स्वास्थ्य अमले की कार्यप्रणाली पर सवाल उठने लगे हैं।
महतारी एक्सप्रेस राज्य सरकार की वह सुविधा है, जिसके तहत गर्भवती महिलाओं और नवजात शिशुओं को समय पर अस्पताल तक पहुंचाने के लिए निशुल्क एंबुलेंस सेवा दी जाती है। लेकिन कसडोल क्षेत्र में इस वाहन का गलत इस्तेमाल कर इसे सामान ढोने का साधन बना दिया गया। वायरल वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि एंबुलेंस के अंदर एक के बाद एक सीमेंट की बोरियां रखी गई हैं, जबकि ड्राइवर बेफिक्री से गाड़ी चला रहा है।
क्या अब एंबुलेंस बनेगी माल ढोने का साधन?
स्थानीय लोगों ने वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर साझा किया। इसके बाद यह मामला पूरे जिले में चर्चा का विषय बन गया। ग्रामीणों ने नाराजगी जताते हुए कहा कि जब प्रसव पीड़ा से जूझ रही महिलाओं को समय पर एंबुलेंस नहीं मिलती, तब इस तरह की लापरवाही बेहद शर्मनाक है। लोगों ने सवाल उठाया कि जब ये वाहन जरूरतमंद मरीजों के लिए तय हैं, तो इनमें निर्माण सामग्री कैसे और किसके आदेश पर भरी गई?
मामले के सामने आने के बाद स्वास्थ्य विभाग में हड़कंप मच गया है। कसडोल के ब्लॉक मेडिकल ऑफिसर (BMO) ने स्वीकार किया कि मामला संज्ञान में आया है और इसकी जांच के आदेश दिए गए हैं। उन्होंने कहा, “वीडियो की जांच की जा रही है। यदि एंबुलेंस का दुरुपयोग पाया गया, तो संबंधित ड्राइवर और जिम्मेदार अधिकारियों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।”
जानकारी के मुताबिक, यह एंबुलेंस कसडोल ब्लॉक के अंतर्गत एक उपस्वास्थ्य केंद्र से जुड़ी हुई है। बताया जा रहा है कि यह वाहन किसी निर्माण स्थल पर सीमेंट के बोरे पहुंचाने गया था। हालांकि यह स्पष्ट नहीं हो सका है कि ऐसा किसके निर्देश पर किया गया।
ग्रामीणों का कहना है कि स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को इस तरह की लापरवाही पर तत्काल कार्रवाई करनी चाहिए, क्योंकि इन वाहनों का संचालन जनता के टैक्स के पैसे से किया जाता है और इनका उद्देश्य केवल चिकित्सा सेवा है, न कि निजी उपयोग।
फिलहाल, वायरल वीडियो के बाद महतारी एक्सप्रेस सेवा पर भी सवाल खड़े हो गए हैं। यह घटना न सिर्फ सरकारी संपत्ति के दुरुपयोग का उदाहरण है, बल्कि यह भी दिखाती है कि निगरानी की व्यवस्था कितनी कमजोर है।
अब देखना होगा कि जांच के बाद जिम्मेदारों पर क्या कार्रवाई होती है या यह मामला भी अन्य मामलों की तरह ठंडे बस्ते में चला जाएगा।
(रिपोर्ट: चंद्रकांत वर्मा, बलौदाबाजार)
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